स्वास्थ्य मंत्री बोले- बड़े अस्पतालों फ्री करेंगे इलाज:ऐसे नियम बनाएंगे कि हॉस्पिटल खुद राइट टू हेल्थ से जुडे़ंगे

नोखा टाइम्स न्यूज़,नोखा।। हेल्थ मिनिस्टर परसादी लाल मीणा ने कहा है कि राइट टू हेल्थ (RTH) बिल के तहत बड़े प्राइवेट अस्पतालों फ्री इलाज करेंगे बिल को इसी महीने राज्यपाल से मंजूरी मिल जाएगीn

मई से स्वास्थ्य का अधिकार राजस्थान में लागू कर देंगे नियम लागू होते ही बड़े अस्पतालों को इमरजेंसी की हालत में मरीज का फ्री इलाज करेंगे हेल्थ मिनिस्टर शुक्रवार को नई दिल्ली कांग्रेस मुख्यालय (AICC) में मीडिया से बातचीत कर रहे थे

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मीणा ने कहा कि प्राइवेट अस्पताल RTH बिल का विरोध कर रहे थे हमने बिल वापस लेने से या बिल में संशोधन करने से साफ मना कर दिया लेकिन नियमों में हम उनकी मांगों को शामिल कर रहे हैं आज जो प्राइवेट अस्पताल विरोध कर रहे हैं नियम बनने के बाद वे इसका स्वागत करेंगे

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जिस तरह चिरंजीवी योजना से 1000 प्राइवेट अस्पताल जुड़े हैं उसी तरह राइट टू हेल्थ से भी जुड़ेंगे हमने किसी को बाध्य नहीं किया है 50 बेड से कम वाले अस्पतालों को RTH के दायरे में नहीं लिया है

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स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि जिन अस्पतालों ने सरकार से मुफ्त या रियायती दर पर जमीन ली है जो सरकारी सहायता ले रहे हैं उन बड़े अस्पतालों को तो इमरजेंसी में फ्री इलाज करेंगे

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सरकारी अस्पताल पहले से ही दायरे में हैं हमारे सरकारी संसाधन बहुत हैं वे इलाज करेंगे हमने घोषणा पत्र में राइट टू हेल्थ कानून बनाने का वादा किया था हमने जनता से किए वादे को लागू कर रहे हैं

nविश्व स्वास्थ्य संगठन की भी गाइडलाइन है कि इमरजेंसी की हालत में डॉक्टर को इलाज करना चाहिए डॉक्टर का प्रोफेशन बहुत नोबल प्रोफेशन माना जाता है राइट टू हेल्थ बिल पर सब मान जाएंगेnnहेल्थ पर बजट का 7 फीसदी खर्च कर रही है राजस्थान सरकारnहेल्थ मिनिस्टर ने कहा कि राजस्थान स्वास्थ्य के क्षेत्र में मॉडल बनकर उभरा है आज राजस्थान मॉडल की चर्चा है बीजेपी राज के समय हेल्थ के क्षेत्र में तीन फीसदी बजट था आज हमने इसे बढ़ाकर सात फीसदी कर दिया है जो नेशनल एवरेज से भी ज्यादा हैn

राइट टू हेल्थ बिल में इमरजेंसी की हालत में फ्री इलाज की बाध्यताnराइट टू हेल्थ बिल में यह प्रावधान है कि इमरजेंसी की हालत में कोई भी अस्पताल मरीज का इलाज करने से मना नहीं कर सकेंगे इमरजेंसी मरीज का फ्री इलाज करने के साथ उसे हायर सेंटर पर रेफर करने की जिम्मेदारी भी अस्पताल की होगी

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इलाज से मना करने पर 25 हजार के जुर्माने का प्रावधान किया है प्राइवेट डॉक्टर इस प्रावधान के विरोध में आंदोलन कर रहे थे तीन दिन पहले ही प्राइवेट डॉक्टरों से समझौता हुआ है अब 50 बेड से ज्यादा वाले अस्पताल ही इस बिल के दायरे में आएंगे इससे छोटे अस्पताल इसके दायरे में आएंगे

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