कलेक्टर के व्यवहार से क्षुब्ध बिश्नोई महासभा: आज करेगा कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन, लगाएंगे धरना, कलेक्टर को हटाने, खेजड़ी के पेड़ों की कटाई रोकने की है मांग

कलेक्टर के व्यवहार से क्षुब्ध बिश्नोई  महासभा: आज करेगा कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन, लगाएंगे धरना, कलेक्टर को हटाने, खेजड़ी के पेड़ों की कटाई रोकने की है मांग

नोखा टाइम्स न्यूज़, नोखा।। अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा सोमवार को बीकानेर जिला कलेक्टर हटाओ खेजड़ियां बचाओ की मांग को लेकर कलेक्ट्रेट के आगे धरना-प्रदर्शन करेंगी। वे खेजड़ली शहीदों का अपमान करने, महासभा और जीव रक्षा के पदाधिकारियों के शिष्टमंडल से अशोभनीय व्यवहार करने तथा खेजड़ी के पेड़ काटने वालों पर कार्रवाई नहीं करने से आक्रोशित है।

रविवार को महासभा के युवा मोर्चा प्रदेशाध्यक्ष जयसुखराम सिगड़, जीव रक्षा संस्था के मोखराम धारणिया औ राजाराम भाम्भू ने संयुक्त बयान जारी किया है। उन्होंने कहा है कि गुरु जाम्भोजी की अमृत वाणी 29 नियमों सिर सांठे रूख रहे, तो भी सस्तो जाण’ पर चलते हुए

यह आंदोलन प्रदेश के सभी उपखंड पर होगा:- 290 साल पहले सम्वत् 1787 में माता अमृता देवी बिश्नोई के नेतृत्व में 363 नर-नारी ने जोधपुर के खेजड़ली ग्राम में अपना बलिदान देकर वृक्षों को बचाया था। उन्होंने आरोप लगाया है कि कलेक्टर ने उन शहीदों का अपमान किया है। इससे 36 कौम के जीव प्रेमियों और बिश्नोई समाज में भारी आक्रोश है।

राजस्थान के मुख्यमंत्री ने तत्काल कार्रवाई करते हुए बीकानेर कलेक्टर को नहीं हटाया और खेजड़ी के कट रहे पेड़ों को नहीं रोका तो उग्र आंदोलन किया जाएगा। इसकी शुरुआत सोमवार को अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा, खेजड़ली बचाओ सघर्ष समिति व सभी जीव रक्षा संस्थाओं के तत्वावधान में जिला कलेक्ट्रेट बीकानेर के सामने जन आन्दोलन से होगी।

मुख्यालय, जिला मुख्यालय पर होगा। समाज के लोग धरना-प्रदर्शन कर ज्ञापन देंगे। इसके बाद भी कार्रवाई नहीं होगी तो आंदोलन को तेज किया जाएगा। समाज के लोग अपने सिद्धांतों से पीछे नहीं हटेंगे। यदि आवश्यकता हुई तो अपना बलिदान देकर के वृक्षों की रक्षा की जाएगी, शहीदों के स्वाभिमान को बचाया जाएगा।

गौरतलब है कि विश्नोई महासभा और जीव रक्षा संस्था के पदाधिकारी और कार्यकर्ता पिछले दो दिनों से इस मुद्दे को लेकर सीएम, मुख्य सचिव को पत्र भेज चुके हैं। शुक्रवार को उन्होंने संभागीय आयुक्त से मिलकर भी कलेक्टर पर कार्रवाई करने और खेजड़ी के पेड़ों की अंधाधुंध कटाई को रोकने का ज्ञापन दिया था। अब भी समाज में इस बात को लेकर रोष व्याप्त है।

जिला प्रशासन पर्यावरण के प्रति हमेशा संवेदनशील रहा है। प्रशासन द्वारा सदैव पर्यावरण प्रेमियों का सम्मान किया जाता रहा है। माता अमृता देवी न केवल जिले के लिए बल्कि पूरे प्रदेश एवं देश-दुनिया के लिए प्रेरणा का स्रोत है। अमर शहीद माता अमृता देवी के नाम पर तो भारत का सर्वोच्च पर्यावरण पुरस्कार दिया जाता है। इनका सम्मान करना प्रत्येक नागरिक का परम कर्तव्य है। जिला प्रशासन का व्यवहार भी हमेशा इसी भावना के अनुरूप रहा है।

नम्रता वृष्णि

जिला कलेक्टर बीकानेर

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